
बद्री-केदार के रास्ते में पड़ने वाले रूद्रप्रयाग में पिछले कुछ समय से बंद पड़े पुल की जगह नया पुल तैयार हो गया है। इससे बद्रीनाथ-केदारनाथ जाने वाले यात्रियों को अब आना-जाना आसान होगा। इससे यात्रियों को कम से कम आधा घंटा कम समय लगेगा। साथ ही चमोली जाने वालों को भी इस नए पुल से आसानी होगी। लंबे समय से बंद पुल की वजह से यात्रियों को घूमकर जाना पड़ता था।
पुल का उद्घाटन करते ही यहां काफी उत्साह नज़र आया। दरअसल ये पूरा पहाड़ी शहर बद्रीकेदार यात्रा पर निर्भर रहता है। पुल के बंद होने से यहां से यात्रा नहीं हो रही थी। इसलिए दुकानों के साथ साथ होटल और बाकी लोगों को भी काम की कमी हो थी। हालांकि दूसरी ओर कोरोना के चलते इस बार यात्रा नहीं हुई है। पुल निर्माण होने से बस अड्डे से आवागमन भी बंद हो गया है और केदारनाथ और बद्रीनाथ यात्रा पर जाने वाले तीर्थ यात्रियों के साथ ही चमोली जनपद के लोगों को राहत मिलेगी।
बीते छः महीने से भी अधिक समय से बन रहे पुल का उदघाटन किया गया। प्रांतीय उद्योग व्यापार प्रतिनिधि मण्डल के नगर अध्यक्ष चन्द्रमोहन सेमवाल के हाथों आरसीसी के प्रोजेक्ट मैनेजर जेपी शर्मा और कोतवाली निरीक्षक केएस बिष्ट एवं नगर के व्यापारियों की मौजूदगी में पुल का उदघाटन किया गया। व्यापार संघ अध्यक्ष के हाथों रिबन कटवाकर पुल का शुभारंभ हुआ। साथ ही सभी को मिष्ठान वितरण किया गया। व्यापार संघ अध्यक्ष चन्द्रमोहन सेमवाल ने कहा कि ऋषिकेश.बद्रीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग को जोड़ने वाले रुद्रप्रयाग स्थित नए पुल का विधिवत शुभारंभ हो गया है। पुल निर्माण से जनता ने भी राहत की सांस ली है। पिछले साढ़े छः माह से जनता पुल निर्माण को लेकर परेशान थी। पहले पुल का निर्माण मई माह तक किया जाना थाए मगर लाॅक डाउन के चलते पुलिया निर्माण में काफी देरी हुई। उन्होंने कहा कि नए पुल के निर्माण न होने से वाहनों की आवाजाही बस अड्डे से हो रही थी। इसके अलाव जनता को भी लम्बा सफर तय करना पड़ रहा था। पुल निर्माण के बाद अब जनता की समस्याएं दूर हो गई हैं। इसके साथ ही वाहनों का आवागमन भी शुरू हो गया है। उन्होंने इसे नगर क्षेत्र की जनता के लिए सौगात बताया। आरसीसी के प्रोजेक्ट मैनेजर जेपी शर्मा ने बताया कि कोरोना के चलते तीन महीने पुल के काम में दिक्कतें पेश आई। सामान्य हालात होती तो तीन महीने में पुल तैयार कर दिया जाता। उन्होंने पुल को नगर की जनता को समर्पित करते हुए शुभकामनाएं दी। उन्होंने बताया कि करीब एक करोड़ 70 लाख की लागत से पुल का निर्माण किया गया।